मंगलवार, 25 अक्तूबर 2011

टार साले ला,

गांव के नदिया ,
नदिया माँ कोकड़ा,,
कोकड़ा के मुंह में मछरी,,
मछरी,खात है कीरा
कीरा ला होत है पीरा
पीरा जब बाढ़गे
मुंह ला फारके,,
बोलीस कीरा,,,अन्ना,न्ना,न्ना,न्ना,,,

मछरी डररागें,,
कोकड़ा उड़ागें,,
नदिया सुखागें,,,,,

फिर अनशन कर देहि गा ,,,टार साले ला,,,
अनुभव

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